उत्तर प्रदेश

यूपी में लागू हुआ नया नियम, प्राइवेट स्कूलों को देनी होगी यह जानकारी

 

डेस्क: 2020 के शुरुआत से ही देश में लॉकडाउन लग गया था। इस कारण सभी स्कूल कॉलेज तथा ऑफिस बंद थे। स्कूलों के बंद होने के बाद भी सही प्राइवेट स्कूलों में अभिभावकों से फीस की मांग की जा रही थी।

बंद होने के बावजूद शिक्षकों को दिए जाने वाले तनख्वाह और अन्य खर्चों का हवाला देते हुए फीस की मांग किए जाने को लेकर अभिभावकों और प्राइवेट स्कूलों के बीच काफी विवाद हुआ। लेकिन इस विवाद का कोई फायदा नहीं हुआ। अंत में अभिभावकों को ऑनलाइन क्लासेज के लिए पूरा फीस देना पड़ा।

प्राइवेट स्कूल आएंगे सूचना के अधिकार के दायरे में

उत्तर प्रदेश में सभी प्राइवेट स्कूलों को सूचना के अधिकार के दायरे में लाया जाएगा जिसके कारण सभी स्कूलों को फीस व खर्च की जानकारी सरकार को उपलब्ध करानी होगी। यह फैसला राज्य सूचना आयोग द्वारा लिया गया है।

प्राइवेट स्कूलों को सूचना के अधिकार के दायरे में लाने से यह फायदा होगा कि कोई भी व्यक्ति इन स्कूलों में होने वाले खर्च की जानकारी को आसानी से प्राप्त कर सकेगा। स्कूलों को भी यह जानकारी उपलब्ध कराना अनिवार्य होगा। इसके लिए काफी लंबे समय से मांग की जा रही थी।

प्राइवेट स्कूलों को सूचना अधिकारियों की करनी होगी नियुक्ति

सूचना आयोग ने यूपी के सभी प्राइवेट स्कूलों को यह निर्देश दिया है कि वह सूचना अधिकारियों की नियुक्ति करें। यह सूचना अधिकारी सूचना अधिकार कानून 2005 के तहत लोगों को खर्च संबंधित सभी जानकारी देंगे।

इससे पहले प्राइवेट स्कूल वाले यह कहकर सरकार को किसी प्रकार की जानकारी देने से इनकार कर देते थे कि सरकार से उन्हें किसी प्रकार का फंडिंग नहीं मिलता है और वे सूचना के अधिकार कानून के दायरे से बाहर हैं। लेकिन अब सभी प्राइवेट स्कूलों को सूचना अधिकार कानून के दायरे में लाया गया है जिस वजह से इन फूलों को सभी जानकारी उपलब्ध करवानी होंगी।

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